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B.P.low kyon hota hain?

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B.P.low kyon hota hain? बी.पी. (ब्लड प्रेशर) अर्थात रक्तचाप का सामान्य स्तर व्यक्ति के स्वास्थ्य के लिए अत्यधिक महत्वपूर्ण है। जब रक्तचाप सामान्य स्तर से गिर जाता है, तब इसे लो ब्लड प्रेशर या हाइपोटेंशन कहा जाता है। यह स्थिति कभी-कभी गंभीर हो सकती है, इसलिए इसे समझना और सही समय पर उपचार करना बेहद आवश्यक है। इस लेख में, हम विस्तार से चर्चा करेंगे कि रक्तचाप कम होने के क्या कारण हो सकते हैं और इसके प्रबंधन या इससे बचने के लिए किन उपायों को अपनाया जा सकता है।

B.P. Low का अर्थ और सामान्य स्तर B.P.low kyon hota hain?
1 ब्लड प्रेशर (रक्तचाप) वह बल है जो रक्त वाहिकाओं की दीवारों पर रक्त के प्रवाहित होने के कारण उत्पन्न होता है। आमतौर पर, रक्तचाप का सामान्य स्तर 120/80 mmHg माना जाता है। यदि यह स्तर 90/60 mmHg से कम हो जाता है, तो इसे निम्न रक्तचाप या लो बी.पी. कहा जाता है।
2 लो ब्लड प्रेशर होने पर शरीर के विभिन्न अंगों तक पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन और पोषक तत्व नहीं पहुँच पाते हैं, जिसके परिणामस्वरूप कमजोरी, चक्कर आना और अन्य स्वास्थ्य समस्याएँ हो सकती हैं।
B.P. Low क्यों होता है? (Low Blood Pressure के कारण)
1 डिहाइड्रेशन:
जब शरीर में पानी की कमी होती है, तो रक्त की मात्रा में कमी आती है, जिसके परिणामस्वरूप रक्तचाप में गिरावट आ सकती है। विशेष रूप से गर्मियों में या बीमार होने की स्थिति में डिहाइड्रेशन का खतरा अधिक होता है।
2 पोषण की कमी:
आयरन, विटामिन बी12 और फोलेट की कमी से खून की कमी (एनीमिया) उत्पन्न हो सकती है, जो निम्न रक्तचाप का एक मुख्य कारक साबित होता है।
3 दिल की समस्याएँ:
यदि हृदय रक्त को सही ढंग से पंप नहीं कर पाता है, तो रक्त का प्रवाह प्रभावित होता है, जिससे रक्तचाप में कमी आती है। दिल से संबंधित समस्याओं जैसे हार्ट अटैक, हार्ट फेलियर और धीमी धड़कन (ब्रैडीकार्डिया) इस समस्या के सामान्य कारणों में शामिल हैं।
4 हार्मोनल असंतुलन:
थायरॉयड ग्रंथि का उचित कार्य न करना (हाइपोथायरायडिज्म) या एड्रेनल ग्रंथि से हार्मोन का न्यून स्राव भी रक्तचाप को प्रभावित कर सकता है।
5 दवाओं का असर:
कुछ दवाएं, जैसे कि डायूरेटिक्स, बीटा-ब्लॉकर्स, एंटी-डिप्रेसेंट्स और विशिष्ट दर्द निवारक, रक्तचाप को कम करने के साइड इफेक्ट्स उत्पन्न कर सकती हैं।
6 संक्रमण (Sepsis):
गंभीर संक्रमण के मामलों में, शरीर की प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया रक्तचाप को नकारात्मक रूप से प्रभावित कर सकती है, जिससे यह अत्यधिक कम हो सकता है।
उपर्युक्त कारक निम्न रक्तचाप के जोखिम को बढ़ाते हैं और इनका ध्यान रखना आवश्यक है।

B.P. कम होने के लक्षण B.P.low kyon hota hain?

1 चक्कर आना या सिर का घूमना।
2 कमजोरी और थकान का अनुभव होना।
3 दृष्टि के सामने अंधेरा छा जाना।
4 बेहोशी की स्थिति में होना।
5 सांस लेने में कठिनाई।
6 दिल की धड़कन का तेज होना।
7 हाथ और पैर का ठंडा और पसीना आना।
यदि आप इनमें से कोई लक्षण महसूस करते हैं, तो तुरंत चिकित्सक से सलाह लेना अत्यंत आवश्यक है।
B.P. Low का उपचार और प्रबंधन
1 संतुलित आहार का सेवन करें:
आयरन, विटामिन B12 और फोलेट से समृद्ध खाद्य पदार्थों का सेवन करें।
नमक की मात्रा को बढ़ाएं, लेकिन यह सुनिश्चित करें कि यह आपके डॉक्टर की सलाह के अनुसार हो।
2 हाइड्रेटेड रहने का ध्यान रखें:
पूरे दिन में पर्याप्त पानी और अन्य तरल पदार्थ, जैसे नारियल पानी और फलों का रस, का सेवन करें।
गर्मियों में विशेष रूप से अधिक पानी पीने पर ध्यान दें।
3 दवाइयों का सही और उचित उपयोग करें:
केवल उन्हीं दवाइयों का प्रयोग करें जो आपके डॉक्टर ने निर्धारित की हैं।
किसी भी नई दवा को उपयोग में लाने से पहले चिकित्सक से परामर्श करें।
4 तनाव को कम करने के उपाय अपनाएं:
योग, ध्यान, और गहरी सांस लेने की तकनीकों का नियमित अभ्यास करें।
मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाए रखने के लिए पर्याप्त आराम करें।
5 नियमित व्यायाम करें:
हल्के व्यायाम, जैसे चलना, तैराकी, या साइक्लिंग, रक्तचाप को सामान्य रखने में मददगार होते हैं।
अत्यधिक शारीरिक exertion से बचें।
6 हालात के अनुसार सावधानी बरतें:
अचानक खड़े होने से बचें, धीरे-धीरे उठें।
गर्म पानी से स्नान करने से बचें।
घरेलू उपाय जो रक्तचाप (B.P.) कम होने पर मददगार हैं
1 नमक-पानी का घोल:
एक गिलास पानी में थोड़ी मात्रा में नमक मिलाकर पीने से तुरंत राहत मिल सकती है।
2 कॉफी या चाय:
कैफीन युक्त पेय जैसे कॉफी या चाय लो बी.पी. को तुरंत सुधारने में सहायक होते हैं।
3 बादाम का दूध:
रातभर पानी में भिगोए हुए बादाम को पीसकर दूध में मिलाकर पीना लाभदायक होता है।
4 तुलसी के पत्ते:
4-5 तुलसी के पत्तों को चबाना या उनका रस निकालकर शहद के साथ लेना स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है।
5 गुड़ और भुने चने:
गुड़ और भुने हुए चनों का सेवन भी रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है।
कब डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए?
यदि निम्नलिखित लक्षण लंबे समय तक बने रहें, तो आपको तुरंत डॉक्टर से मिलना चाहिए:
1 जब लो बी.पी. (निम्न रक्तचाप) के लक्षण लगातार बने रहें।
2 यदि आपको बार-बार बेहोशी का अनुभव हो या सिर घूमने की समस्या उत्पन्न हो रही हो।
3 जब आपको दिल की धड़कनों में कोई असामान्यता महसूस हो।
4 यदि शरीर में अत्यधिक कमजोरी महसूस हो रही हो।

5 डॉक्टर आपकी स्थिति के अनुसार उचित उपचार और दवाईयों की सलाह देंगे।

निष्कर्ष
बीपी (ब्लड प्रेशर) कम होने के कई संभावित कारण हो सकते हैं, जिनमें डिहाइड्रेशन, पोषण की कमी, हृदय संबंधी समस्याएँ, या हार्मोनल असंतुलन शामिल हैं। इन कारणों की पहचान और समय पर उपचार करना अत्यंत आवश्यक है। एक स्वस्थ जीवनशैली, संतुलित आहार, और नियमित व्यायाम के माध्यम से इसे प्रभावी रूप से नियंत्रित किया जा सकता है यदि समस्या गंभीर हो, तो चिकित्सा सलाह अवश्य लें।
स्वास्थ्य ही जीवन की नींव है, इसलिए अपने शरीर के संकेतों को समझना और उचित कदम उठाना निहायत महत्वपूर्ण है।
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